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शनिवार, 22 नवंबर 2025

 


पंच पक्षी ज्योतिष दक्षिण भारत और तमिल मूल की एक अद्वितीय भविष्यवाणी प्रणाली है, जिसमें

व्यक्ति के जन्म नक्षत्र और चंद्र पक्ष (शुक्ल या कृष्ण पक्ष) के आधार पर उनके जीवन के लिए—गिद्ध, उल्लू, कौआ, मुर्गा या मोर एक पक्षी निर्धारित होता है।

इन पांच पक्षियों के आधार पर व्यक्ति के कार्यों, समय की शुभता–अशुभता और दैनिक निर्णयों का विश्लेषण किया जाता है।

पंच पक्षी सिद्धांत में पूरे दिन को पाँच हिस्सों में बाँटकर प्रत्येक हिस्से का नाम एक पक्षी के नाम पर रखा गया है।

पंच पक्षी ज्योतिष में पाँच पक्षियों—गिद्ध, उल्लू, कौआ, मुर्गा तथा मोर को ब्रह्मांड के पाँच तत्वों

(आकाश, वायु, अग्नि, जल, पृथ्वी)

का प्रतीक माना गया है।

व्यक्ति की जन्म तिथि, जन्म नक्षत्र और माह के पक्ष के अनुसार उसका जन्म पक्षी (Primary ruling bird) निश्चित होता है।

इस पक्षी की स्थिति और उसकी दैनिक गतिविधियाँ शुभ-अशुभ फल बताती हैं।

इन पक्षियों की हर 2 घंटे 24 मिनट में गतिविधियां बदलती रहती हैं।

हर पक्षी दिनभर पाँच कार्यों में व्यस्त रहता है:

खाना (भोजन करना)

घूमना (परिभ्रमण करना)

शासन करना (लीडरशिप)

आराम करना (सोना)

निष्क्रिय अवस्था (मृत)

इस पद्वति के प्रयोग से हम किसी भी जातक (व्यक्ति) द्वारा दैनिक, साप्ताहिक, मासिक समय अनुसार किये जाने वाले कार्यों के मुहूर्त तथा उनकी शुभ-अशुभ अवस्था के बारे में जान सकते है जिससे हम अपना प्रतिदिन का एक टाइम टेबल बना सकते हैं जिससे हमारा दिन, सप्ताह, महीना हमारे लिए लाभदायक बन सके.

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